WRITER BABU
Monday, July 23, 2012
माँ के पास
मेरे तर्क
खत्म हो गए है
और छोभ भी
ना तलाश है इश्वर की
और क्रोध भी नहीं है
क्योंकि आजकल
यही मेरे आसपास
मेरी माँ बैठी रहती है
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